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Tuesday, March 21, 2023

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रिजर्व बैंक के इस फैसले से पेमेंट बैंक खाताधारकों को होगा फायदा!

मुंबई: भारतीय रिजर्व बैंक (RBI) ने अपनी क्रेडिट पॉलिसी की घोषणा करते हुए एक बड़ा फैसला लिया है। इस फैसले से डिजिटल अर्थव्यवस्था को बढ़ावा मिलेगा। इससे देश के भुगतान बैंकों और उनके ग्राहकों को राहत मिली है। इस बीच, पेमेंट्स बैंक पिछले कई महीनों से डिपॉजिट लिमिट बढ़ाने की मांग कर रहा है। उनकी मांग को आरबीआई ने स्वीकार कर लिया है। इससे भुगतान बैंकों और लाखों ग्राहकों को राहत मिली।

आरबीआई ने क्रेडिट पॉलिसी की घोषणा की
आरबीआई ने भुगतान बैंक खातों में जमा की सीमा को बढ़ाकर 2,00,000 रुपये कर दिया है। पहले यह सीमा 1,00,000 रुपये थी। (आरबीआई द्वारा पेमेंट्स बैंक डिपॉजिट की सीमा 2 लाख रुपये तक बढ़ा दी गई) इस बीच, पेमेंट बैंकों ने केंद्र सरकार द्वारा 5 लाख रुपये तक जमा पर बीमा कवर बढ़ाने के बाद खाता संतुलन में वृद्धि की मांग की थी। आरबीआई ने आज अपनी क्रेडिट पॉलिसी की घोषणा करते हुए यह निर्णय लिया। इसलिए, भुगतान खाते में शेष राशि बढ़ाने से लाखों भुगतान बैंक खाता धारकों को लाभ होगा। वे अब बड़ी मात्रा में डिजिटल लेनदेन कर सकेंगे।

आरबीआई के इस नए फैसले से यह संभावना है कि भुगतान बैंकों को अब बैंकिंग क्षेत्र में प्रतिस्पर्धा करने का समान अवसर मिलेगा। लाइसेंस प्राप्त भुगतान बैंकों के लिए 27 नवंबर 2014 को जारी किए गए नियमों के अनुसार, व्यक्तिगत उधारकर्ता को अपने बैंक खाते में एक लाख रुपये का शेष रखने की अनुमति दी गई थी। आरबीआई ने आज कहा कि इसे बढ़ाकर 2 लाख रुपये कर दिया गया है।

वर्तमान में Paytm Payment Bank, Airtel Payment Bank, India Post Payment Bank जैसे अग्रणी भुगतान बैंक चल रहे हैं। इन बैंकों द्वारा बचत खाता सेवाएं प्रदान की जाती हैं। जिसमें ग्राहक को पैसे जमा करने की सुविधा है। हालांकि, भुगतान बैंक द्वारा ऋण नहीं दिया जाता है। एटीएम बैंकों को डेबिट कार्ड भुगतान की पेशकश करते हैं, लेकिन क्रेडिट कार्ड नहीं। भुगतान बैंकों को उन सेवाओं को प्रदान करने की अनुमति है जहां बैंकिंग सेवाएं नहीं पहुंची हैं।

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